Parvatasana Benefits In Hindi: योग को हमारे शरीर के लिए काफी लाभकारी माना गया है. कहते हैं कि जो भी व्यक्ति रोजाना योग (Yoga Tips) करता है. उस व्यक्ति को जल्दी डॉक्टर के पास जाने की आवश्यकता नहींं पड़ती है. लेकिन आज के समय में लोगों के पास वक्त की काफी कमी है. ऐसे में आज हम एक ऐसे आसन (Parvatasana Tips) के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसे रोजाना मात्र 5 मिनट कर के अपने आप को स्वस्थ रखा जा सकता है. इस आसन का नाम है पर्वतासन. इस आसन को रोजाना करने से आपकी पूरी बॉडी स्वस्थ और फिट रहती है. तो चलिए विस्तार से जानते है इस आसन के फायदों के बारे में.

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आज के समय में डिप्रेशन और चिंता से लोग अधिक पीड़ित रह रहे हैं. जिसके चलते उन्हें और भी कई समस्याएं घेर लेती हैं. ऐसे लोगों को इस आसन को जरूर करना चाहिए. इसके साथ-साथ जिन लोगों को सिरदर्द, अनिद्रा और थकान जैसी समस्या महसूस होती रहती है व इसके अलावा जो लोग वजन घटाने के लिए बहुत परेशान नजर आते हैं, उनके लिए यह आसन बहुत मददगार है. पर्वतासन कंधों, चेस्‍ट और ऊपरी पीठ के हिस्‍से से अतिरिक्त वजन कम करके शरीर के ऊपरी हिस्से की मसल्‍स को टोन करता है. इससे आपको कई प्रकार के शारीरिक फायदे मिलते हैं.

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पर्वतासन को अपनी दिनचर्या में शामिल करने से हमें कई अन्य लाभ प्राप्त होते हैं. जैसे कि यह दिमाग में ब्‍लड सर्कुलेशन को बेहतर करता है. जिससे आपका दिमाग अच्छे से काम करता है. इसके साथ ही आसन रीढ़ को लंबा कर सकता है और लंग्‍स की क्षमता को बढ़ाकर चेस्‍ट की मसल्‍स को मजबूत करने में सहायक साबित होता है. इसको रोजाना करने से हम ऊर्जावान और अंदर से मजबूत महसूस करते हैं. पर्वतासन साइटिका जैसी पीठ के निचले हिस्से की बीमारियों के इलाज में भी बहुत फायदेमंद माना जाता है.

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पर्वतासन को करने की विधि

  1. दोनों हाथों और पैरों पर शुरू करें, सुनिश्चित करें कि हथेलियां कंधों के नीचे और घुटने कूल्हों के नीचे हों. 
  2. कूल्हों को ऊपर उठाएं, घुटनों और कोहनियों को सीधा करें और उल्टे ‘वी’ का आकार बना लें.
  3. अब उंगलियां आगे की ओर करके हाथों को कंधों की चौड़ाई जितना अलग रखें. 
  4. हथेलियों पर दबाव डालें और कंधे के ब्लेड्स को खोलें. 
  5. अब एड़ियों को फर्श से ऊपर उठाना शुरू करें.
  6. नज़र पैर की उंगलियों पर केंद्रित करें.
  7. आठ से दस सांसों तक रोकने की कोशिश करें.

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पर्वतासन करने के फायदे 

  1. यह आपके पूरे शरीर को लचीला बनाता  है और अंदर से शक्ति प्रदान करता है.
  2. कमर दर्द के केस में राहत प्रदान करता है.
  3. सिरदर्द, थकान और अनिद्रा की समस्या दूर होती है.
  4. शरीर की मसल्‍स को टोन करने का काम करता है.
  5. चिंता और डिप्रेशन से छुटकारा दिलाता है.
  6. इस मुद्रा का उपयोग हाई ब्‍लड प्रेशर, अस्थमा, साइटिका, फ्लैट पैर और साइनसाइटिस के लिए चिकित्सीय सहायता के रूप में किया जा सकता है.
  7. पर्वतासन पीठ के निचले हिस्से की बीमारियों के इलाज में भी लाभकारी साबित होता है.
  8. अस्थमा जैसे फेफड़ों के विकारों के लिए फायदेमंद सिद्ध होता है.
  9. पर्वतासन पीरियड्स के दर्द और बेचैनी जैसे पीरियड्स के लक्षणों के उपचार में भी मददगार साबित होता है.
  10. पेट की मसल्‍स को खींचने और मजबूत करने में कारगर साबित होता है.

(नोटः ये जानकारी एक सामान्य सुझाव है. इसे किसी तरह के मेडिकल प्रोफेशनल की सलाह के तौर पर न लें. आप इसके लिए अपने डॉक्टरों से सलाह जरूर लें.)