कुछ ही दिनों में भगवान गणेश (Lord Ganesha) का आगमन हमारे
घरों में होने वाला है. महीने के आखिरी दिन 31 अगस्त को गणेश चतुर्थी (Ganesh Chaturthi Date) के दिन हर घर
में गणपति की स्थापना (Ganpati Sthapna) की जाएगी और फिर भगवान गणेश हमारे साथ 10 दिनों तक हमारे साथ
हमारे घर में रहेंगे. ऐसे में वास्तुशास्त्र (Ganesha Pratima Vastu Tips) की मानें, तो घर में में गणपति की
मूर्ति या तस्‍वीर को लगाने से घर में मौजूद वास्तुदोष से हमे छुटकारा मिल जाता
है. इसके साथ ही हमारे घर में अपार सुख-समृद्धि (Happiness) का आगमन होता है. तो चलिए जानते
हैं कि बेशुमार तरक्‍की, पैसा
और खुशहाली पाने के लिए घर में किस जगह पर हमें गणेश जी की मूर्ति की स्थापना करनी
चाहिए.

यह भी पढ़ें: Ganesh Chaturthi में इन 10 चीजों को दस दिन लगाएं बप्पा को भोग, आप पर बरसेगी कृपा!

मुख्‍य द्वार पर लगाएं गणेश जी की मूर्ति या
तस्वीर

वास्तुशास्त्र की मानें, तो घर के मुख्य द्वारा
पर भगवान गणेश की मूर्ति रखना बहुत ही शुभ माना जाता है. ऐसा करने से घर से नकारात्मक
ऊर्जा (Negative Energy) दूर भागती है और घर के अंदर सकारात्मक ऊर्जा (Positive Energy) का संचार होता है. जिसके प्रभाव
से घर में होने वाले कलेश मिटते हैं और घर में बरकत और खुशहाली बनी रहती है. मुख्‍य
द्वार पर गणेश जी की मूर्ति या तस्‍वीर का होना कई वास्‍तु दोषों को समाप्त तो
करता ही है, लेकिन इसके लिए मूर्ति या फिर तस्वीर को उचित स्थान पर पूरे विधि
विधान से लगाना जरूरी है.

यह भी पढ़ें: Ganesh Chaturthi 2022: गणेश चतुर्थी में भगवान गणेश की स्थापना कब और कैसे करें

मुख्य द्वारा पर गणेश प्रतिमा स्थापित करने का
नियम

वास्‍तु शास्‍त्र के अनुसार, घर में मूर्ति या
तस्वीर की स्थापना करते समय घर की दिशा का ध्यान जरूर दें, यानी कि घर का मुख्य
द्वार उत्‍तर मुखी या दक्षिणमुखी हो तभी मुख्य द्वार पर गणेश जी की मूर्ति लगाएं.
यदि मुख्‍य द्वार पूर्व या पश्चिम दिशा में है, तो भूलकर ऐसी गलती न करें, वरना
फायदे की जगह नुकसान हो सकता है. इसके साथ ही आपको घर के अंदर दक्षिणवर्ती सूंड और
बाहर वामवर्ती सूंड वाली प्रतिमा लगानी चाहिए. गौरतलब है कि गणपति की मूर्ति बैठी
हुई मुद्रा वाली ही स्थापित करना शुभ माना जाता है.

यह भी पढ़ें: Ganesh Chaturthi 2022: कब है गणेश चतुर्थी? जानें शुभ मुहूर्त और पूजा विधि

इस दिशा में रखें मूर्ति का मुख

मूर्ति की स्थापना करते समय गणेश जी की मूर्ति
का मुख घर के अंदर की ओर रखना चाहिए. अगर संभव हो सके, तो हमें मुख्‍य द्वार पर गणेश
जी की दो ऐसी मूर्ति लगानी चाहिए, जिनकी पीठ आपस में जुड़ी हुई हों. यानी कि एक
मूर्ति का मुख घर के बाहर की ओर हो और दूसरी का मुख अंदर की ओर हो. घर के मुख्य
द्वारा पर ऐसी मूर्ति लगाना बहुत ही ज्यादा शुभ माना जाता है.

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ओपोई इसकी पुष्टि नहीं करता है.)