Who is Senthil Balaji: सेंथिल बालाजी का जन्म 1975 में तमिलनाडु के करूर जिले में हुआ था. उनके फाउंडेशन की वेबसाइट के अनुसार, उन्होंने करूर में रामेश्वरपट्टी सरकारी स्कूल, विवेकानंद स्कूल, पसुपतिपलायम और म्युनिसिपल हायर सेकेंडरी स्कूल में पढ़ाई की. उन्होंने 21 साल की उम्र में राजनीति में प्रवेश किया और 2000 में पहली बार लगातार दो बार करूर विधायक चुने गए. 2016 में, वे अरवाकुरिची निर्वाचन क्षेत्र में चले गए और 2021 के विधानसभा चुनावों में फिर से अपनी करूर सीट हासिल कर ली.

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अम्मा जल योजना के थे मास्टरमाइंड

बालाजी को वर्ष 2013 में जयललिता की प्रसिद्ध अम्मा जल पहल का मास्टरमाइंड माना जाता है, जिसने गरीबों को सस्ते दरों पर पीने का पानी उपलब्ध कराया. बालाजी ने आय से अधिक संपत्ति के मामले में जयललिता के बरी होने का जश्न सिर मुंडवाकर मनाया था. हालाकिं, बाद में उनके रिश्ते में खटास आ गई और बालाजी को 2015 में DMK सरकार में कैबिनेट मंत्री के पद के साथ पार्टी के करूर जिला सचिव के पद से हटा दिया गया. 2016 में जयललिता की मृत्यु के बाद, उन्होंने वीके शशिकला- टीटीवी दिनाकरण गुट का समर्थन किया और बाद में 2018 में DMK में शामिल हो गए.

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करुर के स्टार मानें जाते हैं बालाजी

बालाजी को जानने वालों का कहना है कि करूर में उनका रुतबा किसी स्टार से कम नहीं है. स्थानीय नेताओं के मुताबिक जॉब फेयर और रक्तदान शिविर जैसे कार्यक्रमों से बालाजी की लोकप्रियता तेजी से बढ़ी है. आम लोगों की उन तक सीधी पहुंच ने भी उन्हें बेहद लोकप्रिय बना दिया है. कई युवा अपने मोबाइल फोन के स्क्रीन, फोन केस और टी-शर्ट पर उसकी फोटो के साथ घूमते नजर आएंगे. बालाजी को करूर में ई-सेवा केंद्र स्थापित करने का श्रेय भी दिया जाता है, जहां जनता सीधे सभी सरकारी सेवाओं का मुफ्त में उपयोग कर सकती है.