पंजाब के मशहूर सिंगर दलेर मेंहदी (Daler Mehndi) को दो साल की सजा सुनाई गई है. साल 2003 के मानव तस्करी के मामले में 18 साल बाद दलेर मेंहदी को दो साल की सजा सुनाई गई है. दलेर मेंहदी को पुलिस ने गिफ्तार कर लिया है. यह 2003 कबूतरबाजी का मामला है. तब उनपर केस दर्ज हुई थी. उनपर लोगों को गैर कानूनी तरीके से विदेश भेजने का आरोप लगाया गया था.
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बताया जाता है कि 1998 और 1999 के दौरान दलेर मेंहदी ने करीब 10 लोगों को गैर कानूनी तरीके से सेन फ्रांसिस्को और न्यू जर्सी भेजा था. इस केस में दलेर मेंहदी और उनके दिवंगत भाई शमशेर सिंह का नाम आया था. दोनों पर दो दर्जन से भी अधिक केस दर्ज किये गए थे. 2018 में पंजाब की पटियाला कोर्ट ने दलेर को 2003 के मानव तस्करी मामले में दोषी पाया और 2 साल जेल की सजा सुनाई थी. लेकिन सजा सुनाने के महज 30 मिनट बाद दलेर मेहंदी को कोर्ट ने जमानत दे दी थी.
दलेर मेंहदी एक मशहूर सिंगर है जिन्होंन हिंदी और पंजाबी गानों पर खूब नाम कमाया. उनके गानों पर लोग थिरकने के लिए मजबूर हो जाते हैं.
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दलेर मेंहदी का परिवार
आपको बता दें, दलेर मेंहदी का 18 अगस्त 1967 को बिहार में हुआ था. उनकी उम्र 55 साल है. दलेर मेहंदी के पिता का नाम अजमेर सिंह चंदन है. जबकि उनकी माता का नाम बलबीर कौर है. बलबीर कौर राज्य स्तरीय पहलवान रही हैं. वहीं, मीका सिंह उनके छोटे भाई है और शमशेर मेंहदी उनके बड़े भाई है जिनका निधन हो चुका है. इसके अलावे उनके तीन बहनें भी हैं.
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दलेर मेंहदी की पत्नी और बच्चे
दलेर मेंहदी की पत्नी का नाम तरणप्रीत कौर है. वही, उनके तीन बेटे और एक बेटी हैं. बेटी का नाम गुरदीप मेंहदी है. वहीं, अजीत कौर मेंहदी, प्रभजोत कौर मेंहदी और रबाब कौर मेंहदी तीनों बेटे हैं.
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दलेर मेंहदी का करियर
दलेर मेंहदी ने 6 साल की उम्र से ही गाना शुरू कर दिया था. 14 साल की उम्र में उन्होंने गाने के लिए कई उस्तादों से सीखा. हालांकि, बाद में वह सैन फ्रांसिस्को में टैक्सी ड्राइवर का काम शुरू कर दिया. लेकिन 1991 में वह वापस भारत लौटे और अपना एक बैंड बनाया. 1995 में उन्होंने शास्त्रीय और पॉप संगीत की ओर रुख किया और उसी साल उनका पहला एल्बम ‘बोलो ता रा रा’ जो काफी हिट हुआ था. वहीं, दलेर मेंहदी ने राजनीति में भी कदम रखा और साल 2013 में उन्होंने कांग्रेस पार्टी ज्वाइन कर ली. वहीं, साल 2019 में उन्होंने कांग्रेस को छोड़ कर बीजेपी में शामिल हो गए.