World Ozone Day 2022: विश्व ओजोन दिवस (World Ozone Day), जिसे ओजोन परत के संरक्षण के लिए अंतर्राष्ट्रीय दिवस के रूप में भी जाना जाता है. प्रतिवर्ष 16 सितंबर को ओजोन परत और ओजोन डिप्लेशन के खतरों की ओर ध्यान आकर्षित करने के लिए मनाया जाता है. इस दिन का उद्देश्य ओजोन परत के संरक्षण के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना है. कई अध्ययनों से पता चला है कि ओजोन परत की क्षति पांच से दस साल बाद तक बनी रहेगी. यह आने वाले दिनों में चीजों को और अधिक कठिन बनाने की क्षमता रखता है.

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क्या है ओजोन परत?

ओजोन परत समताप मंडल (स्टेटो स्पेयर) में पाई जाती है. इसके परत की मोटाई दो से पांच मिलीमीटर तक होती है और पृथ्वी को चारो तरफ से घेरे रहती है. इस वजह से पराबैंगनी किरणें (अल्ट्रावायलेट रेज़ ) पृथ्वी (Earth) तक नहीं पहुंच पाती हैं. जब पराबैंगनी किरणें ऑक्सीजन के दो अणुओं (मॉलिक्यूल्स ) में से एक को तोड़ती हैं और दूसरी ऑक्सीजन के साथ मिलकर तीसरा अणु बन जाता है, तो यह मिलाकर ओजोन परत बनता है.

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ओजोन प्रदूषण और स्वास्थ्य के बीच संबंध

सीडीसी के अनुसार ओजोन परत और स्वास्थ्य के बीच सीधा संबंध है. सूरज से आने वाली अल्ट्रावायलेट किरणें कैंसर समेत कई गंभीर बीमारियों का कारण बन सकती हैं. ओजोन परत इन किरणों को पृथ्वी तक पहुंचने से रोकती है और हमें रोगों से बचाती है. प्रदूषण के कारण ओजोन परत को नुकसान पहुंच रहा है. ओजोन प्रदूषण के कारण सांस लेने में तकलीफ, अस्थमा, खांसी और दर्द, जलन, शरीर में कमजोरी, फेफड़ों का कमजोर होना, शारीरिक गतिविधि करने में कठिनाई, सांस लेने में कठिनाई और घरघराहट और सीने में दर्द हो सकता है.

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ओजोन प्रदूषण का सबसे ज्यादा खतरा किसे है?

ओजोन प्रदूषण सभी उम्र के लोगों को प्रभावित करता है, लेकिन इसका सबसे ज्यादा असर अस्थमा और फेफड़ों के रोग के मरीजों पर पड़ता है. इसके अलावा बुजुर्गों, छोटे बच्चों और लंबे समय तक घर से बाहर रहने वाले लोगों को सबसे ज्यादा खतरा होता है.

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कैसे करें अपने परिवार की सुरक्षा:

ज्यादा समय घर से बाहर बिताने की बजाय घर पर ही समय बिताएं.

घर से बाहर निकलते समय मास्क का प्रयोग करें.

इम्युनिटी बढ़ाने के लिए खान-पान का खास ख्याल रखें.