नेताजी के नाम से मशहूर, प्रतिष्ठित स्वतंत्रता सेनानी सुभाष चंद्र बोस की आज 125वीं जयंती है. केंद्र सरकार ने बोस की जयंती को शामिल करने के लिए 23 जनवरी से गणतंत्र दिवस समारोह शुरू करने का फैसला किया है, जिसे इस साल से शुरू होने वाले पराक्रम दिवस (वीरता का दिन) के रूप में मनाया जा रहा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीटर पोस्ट शेयर करते हुए लिखा, सभी देशवासियों को पराक्रम दिवस की ढेरों शुभकामनाएं. नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती पर उन्हें मेरी आदरपूर्ण श्रद्धांजलि. बता दें कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती पर उन्हें याद किया.
आजादी के ट्वीटर पर लिखा कि महानायक नेताजी सुभाष चन्द्र बोस की जयंती पर उन्हें कोटिशः नमन करता हूँ. उन्होंने अपने असाधारण देशप्रेम, अदम्य साहस व तेजस्वी वाणी से युवाओं को संगठित कर विदेशी शासन की नींव हिला दी. मातृभूमि के लिए उनका अद्वितीय त्याग, तप व संघर्ष सदैव देश का मार्गदर्शन करता रहेगा.
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नेताजी की प्रतिमा की ऊंचाई 28 फीट और चौड़ाई 6 फीट होगी. मूर्ति के निर्माण में इस्तेमाल होने वाला जेड ब्लैक स्टोन तेलंगाना से लाया जाएगा. प्रतिमा को अमर जवान ज्योति के स्थान पर छत्रछाया में रखा जाएगा, जिसकी “शाश्वत लौ” को शुक्रवार को राष्ट्रीय युद्ध स्मारक मशाल में मिला दिया गया था. प्रधानमंत्री की घोषणा के साथ ही प्रतिमा बनाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. उन्होंने कहा “प्रतिमा नेताजी के मजबूत चरित्र को दर्शाएगा, ”.
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