Aadhaar Card: भारत में नागरिकों के लिए अब आधार कार्ड (Aadhaar Card) सबसे महत्वपूर्ण दस्तावेजों में से एक है. अब हर नागरिक के पास आधार कार्ड होना जरूरी है. हालांकि इसी बात का फायदा उठाते हुए बहुत-से ऑपरेटर जरूरी दस्तावेजों के नहीं रहने पर भी आधार जनरेट कर रहे हैं. भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (UIDAI) ने सख्ती दिखाते हुए कड़े कदम उठाए हैं.

1.2 प्रतिशत आधार ऑपरेटरों को निलंबित

UIDAI ने एक आधिकारिक बयान में जानकारी दी है कि पिछले साल धोखाधड़ी गतिविधियों में लिप्त पाए जाने के कारण करीब 1.2 प्रतिशत आधार ऑपरेटरों को निलंबित किया गया है. साथ ही ऐसे मामलों में आवश्यक दंडात्मक कार्रवाई की जा रही है.

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एक लाख ऑपरेटर का नाम शामिल

ऑपरेटरों की लिस्ट की बात करें तो UIDAI के पास करीब एक लाख ऑपरेटर का नाम शामिल होने का अनुमान है. ये ऑपरेटर व्यक्तियों को नामांकित करने, उनके नाम में सुधार, पते में परिवर्तन और फोटो अपडेट जैसे आधार सेवाएं प्रदान करते हैं. सभी नए वयस्क नामांकनों की गुणवत्ता जांच के लिए राज्य सरकारों को शामिल किया गया है.

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ऑपरेटर को सीमित संख्या में ही नामांकन की अनुमति

UIDAI के मुताबिक, एक ऑपरेटर को यूआईडीएआई डाटा सेंटर में नियमित रूप से रजिस्ट्रेशन मशीन और अन्य उपकरणों की जांच कराने की जरूरत होती है. ऑपरेटर को प्रतिदिन सीमित संख्या में ही नामांकन की अनुमति होती है. इसके अलावा, ऑपरेटर इस सिस्टम का दुरुपयोग न कर सकें, इसके लिए नामांकन मशीनों में जीपीएस लगाया गया है.

गौरतलब है कि भारत में हर महीने औसतन 200 करोड़ से ज्यादा आधार का प्रमाणीकरण किया जा रहा है. केंद्र और राज्य सरकारों की 1670 समाज कल्याण (डीबीटी) और सुशासन योजनाओं को इसके तहत नोटिफाई किया गया है। इसका मतलब है कि इन योजनाओं का लाभ केवल आधार प्रमाणीकरण के माध्यम से ही मिल सकता है.