Jyeshtha Maas 2023 Start Date: हिंदू धर्म हर शुभ कार्य या तीज-त्योहार शुभ दिन देखकर ही मनाए जाते हैं. 22 मार्च, 2023 से विक्रम संवत 2080 की शुरुआत हुई और इसी दिन हिंदू नववर्ष भी मनाया गया. हिंदू कैलेंडर के अनुसार, पहला महीना चैत्र का था, दूसरा वैशाख का है और तीसरा महीना ज्येष्ठ का होगा जिसे कुछ लोग जेट का महीना भी कहते हैं. ये महीना मई-जून के बीच में पड़ता है. ज्येष्ठ के महीने में कई तीज-त्योहार पड़ते हैं और उनका विशेष महत्व भी बताया जाता है. लोग उन तीथियों पर वो शुभ दिन मनाकर अपने देवी-देवताओं की पूजा करते हैं. चलिए आपको ज्येष्ठ के महीने में पड़े वाले शुभ त्योहारों के बारे में बताते हैं.

यह भी पढ़ें: Ganga Saptami 2023 Upay: गंगा सप्तमी के दिन कर दें ये अचूक उपाय, मां लक्ष्मी घर से कभी नहीं जाएंगी!

कब से शुरू हो रहा है ज्येष्ठ माह? (Jyeshtha Maas 2023 Start Date)

5 मई, 2023 को वैशाख माह की समाप्ति होगी और 6 मई, 2023 से जेट माह या ज्येष्ट मास की शुरुआत होगी. ज्येष्ठ माह की शुरुआत 6 मई, 2023 से होगी और 4 जून 2023 को ये ज्येष्ठ का महीना खत्म होगा. विक्रम संवत में ज्येष्ठ का महीना तीसरा माना जाता है. हिंदू कैलेंडर में महीनों के नाम नक्षत्रों पर आधारित किये गए हैं और इसमें महीने का बदलना चंद्र चक्र पर भी निर्भर होता है. चंद्रमा जिस नक्षत्र परपहले होता है महीने का नाम उसपर ही आधारित कर दिया जाता है.

ज्येष्ठ माह की पूर्णिमा को चंद्रमा ज्येष्ठ नक्षत्र में होने के कारण इसे ज्येष्ठ मास कहते हैं. इस माह में भगवान शनि देव जयंती, गंगा दशहरा और निर्जला एकादशी जैसे मुख्य त्योहार पड़ने वाले हैं. इसी महीने बुढ़वा मंगल भी पड़ता है जिसे बहुत महत्व दिया गया है. ज्येष्ठ मास के हर मंगलवार के दिन हनुमान जी की विशेष पूजा करने का प्रावधान है.

यह भी पढ़ें: April के आखिरी हफ्ते 4 राशियों को होगा धन लाभ, 3 राशियों को हो सकता है नुकसान

क्या है ज्येष्ठ मास का महत्व (Jyeshtha Maas Importance)

हिंदू धर्म में ऐसा माना गया है कि ज्येष्ट महीने में पृथ्वी पर गंगा का अवतरण हुआ था इसलिए इस महीने में गंगा दशहरा का प्रमुख पर्व मनाया जाता है. ज्येष्ठ महीने में ही शनिदेव जी का जन्म भी हुआ था इसलिए भी इस महीने का महत्व बढ़ गया है. ऐसी मान्यता है कि ज्येष्ठ माह में पड़ने वाले शनिदेव जयंती पर अगर आपने उनकी पूजा सच्चे मन से विधिवत कर ली तो आपके सभी कष्ट दूर हो जाते हैं. इस साल शनिदेव जयंती 19 मई को पड़ेगी. ज्येष्ठ मास में गर्मी अपने चरम पर होती है इसलिे इसे ज्येष्ठ मास यानी गर्मी का महीना भी कहते हैं.

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ओपोई इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

यह भी पढ़ें: Ganga Saptami 2023 Date: कब है गंगा सप्तमी? जानें पूजा विधि, शुभ मुहूर्त और इस दिन का महत्व