वित्त वर्ष 2021-22 के बजट में वित्त मंत्री सीतारमण ने LIC के IPO की बात कही थी. सरकार ने इस प्रक्रिया को सुगम बनाने के लिये जीवन बीमा निगम कानून 1956 में संशोधन का प्रस्ताव किया है.

आर्थिक मामलों से जुड़े विभाग के सचिव तरूण बजाज ने बुधवार को कहा कि भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) का आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (IPO) अगले वित्त वर्ष की चौथी तिमाही में आ सकता है.

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वित्त मंत्री ने 2021-22 के बजट के साथ सदन के पटल पर रखे गये वित्त विधेयक के जरिये 27 संशोधन प्रस्तावित किये हैं.

बजाज ने कहा, ‘‘अगले वित्त वर्ष की संभवत: तीसरी या चौथी तिमाही में आईपीओ आ सकता है. यह इस बात पर निर्भर करता है कि कितनी जल्दी मूल्यांकन सामने आता है.’’

वित्त मंत्री ने सोमवार को बजट भाषण में एलआईसी का IPO लाने की घोषणा की.

फिलहाल सरकार की LIC में 100 प्रतिशत हिस्सेदारी है. अलगभग 8 से 10 लाख करोड़ रुपये के मूल्यांकन के अनुमान के साथ इसके सूचीबद्ध होने पर बाजार पूंजीकरण के लिहाज से यह संभवत: देश की सबसे बड़ी कंपनी होगी.

निवेश और लोक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग (दीपम) पहले ही एलआईसी का मूल्यांकन करने के लिये कंपनी मिलीमैन एडवाजर्स का चयन कर चुकी है. जबकि डेलॉयट और एसबीआई कैप को ‘प्री-आईपीओ’ सौदा सलाहकर नियुक्त किया गया है.

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