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2 years ago .New Delhi, Delhi, India

Chhath Puja: कौन हैं छठी मईया? जानें इस पूजा का विशेष महत्व क्या है

छठ पूजा में खरना का विशेष महत्व है. (फोटो साभार: Unsplash)

  • इस साल 28 अक्टूबर से 31 अक्टूबर तक छठ का महापर्व मनाया जाएगा.
  • भारत में बिहार,झारखंड और पूर्वांचल साइड इस त्योहार को धूमधाम से मनाया जाता है.
  • छठ पूजा में छठी मईया और सूर्य देव की पूजा की मान्यता बताई गई है.

Written by:Sneha
Published: October 28, 2022 06:37:56 New Delhi, Delhi, India

Chhath Puja History: बिहार, झारखंड और पूर्वी उत्तर प्रदेश में छठ पूजा की दिवाली के बाद खूब धूम रहती है. बिहार के लोग छठ पूजा का बेसब्री के साथ इंतजार करते हैं और इस पर्व की खुशी हर बिहारियों के घरों में दिखती है. अब ये छठी मईया कौन हैं और इनकी पूजा क्यों होती है या इस पूजा का क्या महत्व होता है चलिए आपको यहां बताते हैं सबकुछ.

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कौन हैं छठी मईया?

पौराणिक कथाओं के अनुसार, छठ पूजा में छठी मईया की पूजा होती है जो भगवान ब्रह्माजी की मानस पुत्री और सूर्यदेव की बहन हैं. उनको प्रसन्न करने के लिए ही छठ पूजा की जाती है. कथाओं के अनुसार, जब ब्रह्माजी सृष्टि की रचना करना शुरू किए थे तब उन्होंने खुद को दो भागों में बांटा था.

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ब्रह्माजी का दायां भाग पुरुष और बायां भाग प्रकृति के रूप में बना. प्रकृति सृष्टि की अधिष्ठात्री देवी बन गईं जो प्रकृति देवी के नाम से प्रसिद्धि मिली. प्रकृति देवी ने खुद को 6 भागों में बांटा गया था और इस छठे अंश को मातृ देवी या देवसेना के नाम से जाना जाता है.

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प्रकृति के छठे अंश होने की वजह से ही उनका नाम षष्ठी पड़ा जिसे छठी मईया के नाम से जाना गया. बच्चे के जन्म होने के छठे दिन जिस माता की पूजा होती है वह षष्ठी देवी कहलाती हैं. षष्ठी की अराधना करने पर बच्चे को आरोग्य और सफलता मिलती है. इसलिए जितनी भी महिलाएं हैं वे अपनी संतान को आरोग्य रहने और सफलता प्राप्त होने के लिए इस व्रत को करते हैं.

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ऐसी भी मान्यता है कि छठी मईया ने कई निसंतान लोगों को संताने दी हैं. ये व्रत संतान होने और परिवार में सुख-समृद्धि के लिए रखा जाता है जिसे महिला या पुरुष कोई भी रख सकता है. मगर ज्यादातर महिलाएं ही इस व्रत को रखती हैं. ये पर्व कार्तिक मास की छष्ठी पर होता है. इस साल ये 28 अक्टूबर से 31 अक्टूबर तक मनाया जाएगा.

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