आचार्य चाणक्य नीतियों को आपने सोशल मीडिया पर खूब देखा और सुना होगा. ऐसा भी बताया जाता है कि चाणक्य नीतियों को ही अपनाकर चंद्रगुप्त मौर्य सम्राट बन गए थे और उनकी नीतियों को अपनाकर आप भी अपने जीवन में सफलता को पा सकते हैं. आचार्य चाणक्य की कई शिक्षाएं और नीतियां आज भी प्रासंगिक है. उनकी शिक्षाएं सफलता पाने पाने और अच्छा इंसान बनने में काफी मदद कर सकता है. मगर हम यहां आपको ये बताएंगे कि किन चीजों को पैर नहीं लगाना चाहिए.

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इन चीजों को भूलकर भी ना लगाएं पैर

आचार्य चाणक्य ने बताया है कि व्यक्ति को ऐसे 6 लोगों को पैर नहीं लगाना चाहिए. जो ऐसा करते हैं उनकी आने वाली पीढ़ियों तक को दोष लग जाता है. आपको इन चीजों के बारे में अच्छे से जान लेना चाहिए.

1. अग्नि: धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, अग्नि को भगवान का दर्जा मिला है. शुभ कामों में अग्नि की आवश्यकता होती है. हिदू धर्म में दीपक जलाकर ही कोई शुभ काम होते हैं और अग्नि देव को कोई भला पैर कैसे लगा सकता है.

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2. ब्राह्मण: साधू संतों और ब्राह्मणों को बहुत ऊंचा दर्जा दिया गया है. सभी शुभ कामों में ब्राह्मणों को भोजन करवाकर उसकी शुरुआत की जाती है. इनका सम्मान हमेशा करना चाहिए और उन्हें भूलकर भी पैर नहीं लगाना चाहिए.

3. गुरू: माता-पिता के अलावा गुरू सर्वोपरी होते हैं. ऐसा कहा जाता है कि गुरू के बिना ज्ञान नहीं मिलता और ज्ञान के बिना भगवान की भक्ति नहीं होती. इसलिए गुरू को कभी पैर ना लगाएं वरना बहुत बड़ा दोष हो सकता है.

4. बुजुर्ग: बूढ़ा व्यक्ति चाहे घर का हो या बाहर का हो लेकिन उनका सम्मान हमेशा करना चाहिए. खासकर अपने घर के बुजुर्गों का सम्मान करने वालों के घर लक्ष्मी मां टिकती हैं.

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5. गाय: हिंदू धर्म में गाय पूज्नीय है. गाय के गोबर की पूजा की जाती है. अगर कभी आपके द्वार पर गाय आए तो उनका सम्मान करें, रोटी खिलाएं और उनका निरादर करके भगाने की भूल ना करें.

6. शिशु: चाणक्य नीति में बच्चों को भगवान का रूप बताया गया है. ऐसे में उन्हें मारना, डांटना या पैरों ले बिल्कुल भी नहीं छूना चाहिए. कम से कम 5 साल तक के बच्चों को ईश्वर के समान समझना चाहिए.

Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ओपोई इसकी पुष्टि नहीं करता है.