Sharad Purnima 2023: अश्विन माह की पूर्णिमा तिथि के दिन शरद पूर्णिमा मनाई जाती है. ऐसी मान्यता है कि इस दिन भगवान विष्णु अणृत की वर्षा करते हैं और हिंदू धर्म के लोग अपने-अपने घरों में इस दिन खीर बनाकर छत पर रखते हैं. इसके बाद सुबह के समय उस खीर को अमृत समझकर भोग मानकर खा लेते हैं. बताया जाता है कि वो खीर खाने के बाद बहुत की शारीरिक परेशानियां समाप्त हो जाती हैं और उस खीर का स्वाद भी बदल जाता है. शरद पूर्णिमा को लेकर बहुत सारी मान्यताएं भी हैं लेकिन उस दिन कुछ चीजों को भी कर लेना चाहिए. शरद पूर्णिमा के दिन इन कामों को करने से मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है.

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शरद पूर्णिमा से जुड़ी 7 काम की बातें (Sharad Purnima 2023)

धार्मिक मान्यता अनुसार, शरद पूर्णिमा के दिन आसमान से अमृत की वर्षा होती है और इस दिन चंद्रमा की पूजा होती है. ऐसा भी माना जाता है कि इस रात लक्ष्मी मां और विष्णु भगवान भ्रमण करते हैं. ऐसी ही 7 बातें इस दिन से जुड़ी बातें बताएंगे.

1.अश्विन माह की पूर्मिणा को कोजागारी पूर्णिमा भी कहते हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि ऐसा माना जाता है कि इस तिथि पर मां लक्ष्मी पृथ्वी पर भ्रमण करते हुए सभी घरों में जाती हैं. इस पूर्णिमा पर भगवान विष्णु माता लक्ष्मी की पूजा करनी चाहिए.

2.शरद पूर्णिमा पर खुले आसमान के नीचे चांद की रोशनी में खीर बनाकर रखने का रिवाज है. ऐसी भी मान्यता है कि इस रात चांद की रोशनी औषधीय गुणों से भरपूर हो जाती है.

3.शरद पूर्णिमा की शीतल चांदनी में खीर रखने का हिंदू धर्म में रिवाज है. खीर में दूध, चीनी और चावल के कारण चंद्रमा हैं इसलिए इसपर चंद्रमा का प्रभाव सबसे ज्यादा होता है.

4.शरद पूर्णिमा को कुमार पूर्णिमा भी कहते हैं. ऐसी मान्यता है कि शरद पूर्णिमा की तिथि पर भगवान श्रीकृष्ण सभी गोपियों के साथ रासलीला करते हैं. इस दिन का महत्व शरद पूर्णिमा पर बढ़ जाता है.

5.इस दिन को लेकर पौराणिक कथा है कि मां लक्ष्मी का जन्म शरद पूर्णिमा को हुआ था. देश के कई हिस्सों में शरद पूर्णिमा को लक्ष्मी जी की पूजा की जाती है.

6.नारद पुराण में बताया गया है कि शरद पूर्णिमा की चांदनी रात में मां लक्ष्मी अपने वाहन उल्लू पर सवार होकर पृथ्वी पर भ्रमण करती हैं. वे देखती हैं कि कौन-कौन जाग रहा है.

7.शरद पूर्णिमा पर चांद अपनी 16 कलाओं के साथ आसमान में विराजते हैं. इस दिन चांद सभी पूर्णिमाओं की तुलना में सबसे चमकीला दिखता है. चांदनी रात में मेडिटेशन करना बहुत ही लाभकारी माना जाता है. या फिर खुली आंखों से चांद को देखना अच्छा होता है.

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ओपोई इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

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