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1 year ago .New Delhi

India First Passenger Drone: कर्तव्य पथ पर दिखेगा भारत के पहले पैसेंजर ड्रोन का जादू, जानें इसकी खासियत

इस साल देश अपना 74वां गणतंत्र दिवस मनाएगा. (फोटो साभार: PTI)

  • भारत के पहले पैसेंजर ड्रोन का जादू भी कर्तव्य पथ पर दिखेगा.

  • इस पैसेंजर ड्रोन का नाम वरुणा रखा गया है.

  • इसे पुणे की सागर डिफेंस इंजीनियरिंग ने बनाया है.


Written by:Gautam Kumar
Published: January 26, 2023 11:07:03 New Delhi

India First Passenger Drone: भारत आज अपना 74वां गणतंत्र दिवस मना रहा है. देश की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत, आर्थिक प्रगति और मजबूत आंतरिक और बाहरी सुरक्षा (India First Passenger Drone) को दर्शाने वाली कुल 23 झांकियां इस कार्यक्रम की शोभा बढ़ाएंगी. इसमें राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों की 17 झांकियां और विभिन्न मंत्रालयों और विभागों की 6 झांकियां शामिल होंगी. आइए जानते हैं इस गणतंत्र दिवस पर क्या है खास:

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भारत के पहले पैसेंजर ड्रोन का जादू

भारत के पहले पैसेंजर ड्रोन का जादू भी कर्तव्य पथ पर दिखेगा. इस पैसेंजर ड्रोन का नाम वरुणा रखा गया है. इसे पुणे की सागर डिफेंस इंजीनियरिंग ने बनाया है. कुछ समय पहले भारतीय नौसेना ने नई दिल्ली में पीएम नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में वरुण का प्रदर्शन किया था.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस पैसेंजर ड्रोन पर एक व्यक्ति सवार हो सकता है. यह पैसेंजर ड्रोन 130 किलो वजन के साथ करीब 25 किलोमीटर तक उड़ान भर सकता है. एक बार उड़ान भरने के बाद वरुण ड्रोन 25-33 मिनट तक हवा में रह सकता है.

इस ड्रोन, का मुख्य लक्ष्य एक स्वदेशी तकनीक का निर्माण करना है, जिसका उपयोग युद्ध के मैदान में अग्रिम पंक्ति के सैनिकों की सुरक्षा और राष्ट्रीय निगरानी और सुरक्षा में सुधार के लिए किया जा सकता है.

वरुणा पैसेंजर ड्रोन गणतंत्र दिवस पर नौसेना की झांकी में प्रदर्शित तीन स्वदेशी रूप से विकसित स्वायत्त मानव रहित प्रणालियों में से एक होगा. रक्षा मंत्रालय (MoD) के इनोवेशन फॉर डिफेंस एक्सीलेंस (IDEX-Sprint) चैलेंज के तहत सभी तीन स्वायत्त मानव रहित प्रणालियों को स्वदेशी रूप से विकसित किया जा रहा है.

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दुनिया की पहली महिला ऊंट सवार दस्ते

सीमा सुरक्षा बल (BSF) की देश की पहली ऊंट सवार महिला टुकड़ी 74वें गणतंत्र दिवस परेड में पहली बार पुरुष ऊंट दल के साथ कर्तव्य पथ पर परेड में हिस्सा लेगी. बीएसएफ की इस महिला ऊंट टुकड़ी को राजस्थान फ्रंटियर और बीकानेर सेक्टर के प्रशिक्षण केंद्र द्वारा प्रशिक्षित किया गया है. यह दुनिया का पहला महिला ऊंट सवार दस्ता है. महिला ऊंट सवार दस्ते की ड्रेस डिजाइन भी कमाल की और खास है.

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