महाराष्ट्र में राज्यसभा चुनाव और विधान परिषद चुनाव के दौरान महा विकास अगाडी (MVA) में शामिल पार्टियों के विधायकों ने क्रॉस वोटिंग की. इसके बाद शिवसेना के बड़े नेता एकनाथ शिंदे पार्टी के कई विधायकों के साथ बागी हो गए और बीजेपी शासित गुजरात के सूरत में डेरा डाल लिया. इसके बाद शिंदे पार्टी के अन्य विधायकों के साथ दिल्ली और महाराष्ट्र से दूरी बनाते हुए असम के गुवाहाटी पहुंच गए हैं. वहां पहुंचकर उन्होंने दावा किया है कि उनके साथ 40 विधायक हैं. इस बयान से महाराष्ट्र की MVA सरकार खतरे में आ गई है. 

यह भी पढ़ें: शिवसेना के बागी एकनाथ शिंदे असम पहुंचे, बोले- यहां हमारे साथ 40 विधायक

महाराष्ट्र विधानसभा में शिवसेना के 55 विधायक हैं. अगर एकनाथ शिंदे को पार्टी तोड़ते हुए बीजेपी के साथ सरकार बनानी है तो उन्हें कम से कम पार्टी के दो तिहाई विधायकों का समर्थन चाहिए होगा. इस मामले में शिंदे को 36 विधायकों का समर्थन चाहिए. अगर शिंदे का 40 विधायकों के समर्थन का दावा सही है तो वह शिवसेना से अलग हो सकते हैं और बीजेपी का समर्थन कर सरकार बना सकते हैं. हालांकि, ये साफ़ नहीं है कि शिंदे के साथ सभी विधायक शिवसेना के ही हैं या कुछ निर्दलीय या किसी और पार्टी के विधायक भी हैं. आज तक की खबर के अनुसार, 7 निर्दलीय विधायक भी शिंदे की तरफ हैं.

यह भी पढ़ें: कौन हैं एकनाथ शिंदे?

एकनाथ शिंदे और बाकी बागी विधायकों का एक वीडियो सामने आया है. ये वीडियो असम के होटल का है.

कैसे गिर सकती है MVA सरकार- पूरा गणित

महाराष्ट्र में राज्यसभा चुनाव और विधान परिषद चुनाव के दौरान MVA में शामिल पार्टियों के विधायकों ने क्रॉस वोटिंग की है. ऐसा इसलिए की बीजेपी के पास महाराष्ट्र में 106 विधायक हैं और निर्दलीय समर्थन के बाद ये आंकड़ा 113 पहुंचता है. लेकिन राज्यसभा चुनाव में बीजेपी को 123 वोट और विधान परिषद चुनाव में 135 वोट मिले हैं. साफ है कि क्रॉस वोटिंग हुई है. अब एकनाथ शिंदे के खुलकर बगावत सामने आने के बाद MVA की परेशानी बढ़ गई है.  

यह भी पढ़ें: हम बालासाहेब के कट्टर शिवसैनिक, सत्ता के लिए धोखा नहीं देंगे: एकनाथ शिंदे

आपको बता दें, महाराष्ट्र विधानसभा में कुल 288 सदस्य हैं. ऐसे में सरकार बनाने के लिए 145 विधायक होना जरूरी है. Shivsena“>शिवसेना के एक विधायक की मृत्यु होने के बाद कुल सदस्य की संख्या 287 हो गई है और सरकार बनाने के लिए 144 MLA की जरूरत हैं.  

MVA का गणित

बगावत से पहले MVA के पास कुल 169 MLA का सपोर्ट था. जबकि बीजेपी के पास निर्दलीय को लेकर 113 विधायक हैं जबकि विपक्ष में 5 अन्य विधायक भी हैं. MVA के 169 सीट में शिवसेना के 55, एनसीपी के 53 और कांग्रेस के 44 विधायक शामिल थे. इसके अलावा सपा के 2, पीजीपी के 2, बीवीए के 3 और 9 निर्दलीय विधायकों का समर्थन भी सरकार को हासिल था.

यह भी पढ़ें: Maharashtra: Eknath Shinde ने उद्धव ठाकरे के सामने क्या रखी है शर्त!

विपक्ष का गणित

बीजेपी के 106, आरएसपी के 1, जेएसएस के 1 और 5 निर्दलीय विधायक शामिल हैं. वहीं, अन्य दलों के पास 5 विधायक हैं. इसमें AIMIM के 2, CPI का (एम) और एमएनएस का 1 विधायक शामिल हैं.