देश में फिर बढ़ते कोरोना के मामलों को लेकर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने देश के सभी लोगों से सतर्क रहने की अपील की है. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मंगलवार को लोगों को सचेत किया कि अभी कोविड पूरी तरह समाप्त नहीं हुआ है, ऐसे में सभी को पूर्णत: सतर्क रहने की जरूरत है तथा सरकार की ओर से जारी सभी दिशा-निर्देशों का पालन करना चाहिए .

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पीटीआई के मुताबिक, राष्ट्रीय राजधानी के रोहिणी इलाके में भगवान महावीर सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल की आधारशिला रखने के बाद राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘ हम सबको ध्यान रखना है कि अभी कोविड पूरी तरह समाप्त नहीं हुआ है. मैं सभी देशवासियों से पूर्णत: सतर्क रहने तथा सरकार द्वारा जारी किये गए सभी दिशा-निर्देशों का पालन करने की अपील करता हूं.’’

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उन्होंने कहा कि जैन धर्म के प्रवर्तकों ने सदियों पहले ही मास्क की उपयोगिता को समझ लिया था, मुंह व नाक को ढकने से वे जीवाणु-हिंसा से बचाव के साथ-साथ शरीर में जीवाणुओं के प्रवेश को भी रोक पाते थे, जिससे शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता मजबूत बनी रहती थी.

कोविंद ने कहा कि जैन परंपरा में पर्यावरण के अनुकूल संयमित और संतुलित जीवन-शैली अपनाने की शिक्षा दी गई है.

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उन्होंने कहा कि सूर्य की दैनिक गति के अनुसार जीवन-शैली को अपनाना स्वस्थ रहने का सुगम उपाय है, यही सीख जैन संतों की आदर्श जीवन-शैली को देखकर मिलती है.

राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘ इसे मैं अपना सौभाग्य मानता हूं कि जैन धर्म की विभिन्न धाराओं से मेरा कुछ विशेष जुड़ाव रहा है और जैन संतों का विशेष सानिध्य भी मुझे समय-समय पर मिलता रहा है.’’

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कोविंद ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि जैन परंपरा में दान का जो महत्व है, उसके पीछे प्रकृति का वह अकाट्य नियम है, जिसके अनुसार इस संसार में हम जो कुछ भी देते हैं, उसका कई गुना प्रकृति से हमें वापस मिलता है.’’