देश के कई राज्यों में लंपी वायरस (Lumpy Virus) कहर बरपा रहा है. इसके लिए पशु विभाग (Animal Department) को अलर्ट रहने के लिए कहा गया है. इसके साथ ही संक्रमण (Infection) की रोकथाम के लिए टीके में तेजी लाने के आदेश दिए गए हैं.

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लंपी वायरस (Lumpy Virus Treatment) बहुत तेजी से फैल रहा है. कई राज्य जैसे उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश और बिहार में हजारों की संख्या में पशुओं (Cows Death) की मौत हो रही है. यह वायरस जानवरों को अपना शिकार बना रहा है और कई जगह पर तो इस वायरस के चलते हालात खराब हो चुके हैं. यहां हम आपको बताएंगे लंपी रोग के लक्षण और बचाव के उपाय के बारे में.

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क्या है लंपी वायरस (What is Lumpy Virus)

लंपी वायरस स्किन डिजीज एक वायरल बीमारी है. ग्लोबल एलायंस फॉर वैक्सीन्स एंड इम्युनाइजेशन (Global Alliance for Vaccines and Immunization) के मुताबिक, लंपी स्किन डिजीज कैप्रीपॉक्स वायरस की वजह से होता है. लंपी स्किन डिजीज (LSD) कैप्रीपॉक्स वायरस के कारण होता है, जो आज के समय में विश्वभर के पशुधन के लिए एक उभरता हुआ खतरा है. यह वायरस अनुवांशिक रूप से पॉक्स परिवार (गोटपॉक्स और शीपपॉक्स वायरस परिवार) से संबंधित है.

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लंपी वायरस के लक्षण – (Lumpy Virus Symptoms)

-लंपी बीमारी होने पर पशु को कम भूख लगती है.

-पशु की बॉडी का तापमान 106 डिग्री फारेनहाइट होना.

-पशु के थूथन, गर्दन, चेहरे पलकों समेत पूरे शरीर में गोल उभरी हुई गांठें.

-इसके अलावा पशु के पैरों में लंगड़ापन, नर पशु में काम करने की क्षमता कम हो जाना.

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लंपी वायरस से कैसे करे बचाव

-लंपी बीमारी से प्रभावित पशुओं को अलग रखें.

-मक्खी, मच्छर, जूं आदि को मार दें.

-पशु की मौत होने पर शव को खुला नहीं छोड़ें

-पूरे क्षेत्र में कीटाणुनाशक दवाओं का छिड़काव करें.