राजधानी दिल्ली में प्राइवेट स्कूलों की फीस को लेकर मनमानी पर केजरीवाल सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. सरकार ने एक जुलाई को आदेश दिया कि दिल्ली में सभी प्राइवेट स्कूलों को अपनी फीस में 15 प्रतिशत तक की कटौती करनी होगी. हालांकि, ये आदेश पिछले साल के शैक्षणिक सत्र यानी 2020-21 के लिए लागू होगा.

सरकार के आदेश के मुताबिक, अगर स्कूल अभिभावकों से ज्यादा फीस ली है तो उन्हें पैसे लौटाने होंगे या फिर आने वाले साल में समायोजित करना होगा.

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दरअसल, दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशालय ने एक आदेश जारी कर दिल्ली के निजी स्कूलों को पैरेंट्स से वार्षिक और विकास शुल्क वसूलने पर रोक लगा दी थी. इसके बाद ये मामला दिल्ली हाईकोर्ट (Delhi High Court) पहुंचा. हाईकोर्ट ने इस पर कहा प्राइवेट स्कूलों को 2020-21 में वार्षिक और विकास शुल्क वसूलने की छूट दे दी थी. हालांकि, कोर्ट ने ये भी कहा था कि प्राइवेट स्कूल भले ही वार्षिक और विकास शुल्क वसूल सकते हैं, लेकिन उन्हें अपनी फीस में 15% की कटौती भी करनी होगी.

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हालांकि कोर्ट ने ये भी साफ किया था कि, स्कूल सत्र 2021-22 में पूरी फीस लेने के लिए स्वतंत्र हैं.

वहीं, अब दिल्ली सरकार के फैसले पर डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने कोरोना के दौर में जब पैरेंट्स आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं, ऐसे वक्त में फीस में 15% की कटौती उनके लिए बहुत राहत होगी.

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