Magha Purnima 2023: हिंदू धर्म में पूर्णिमा का अधिक महत्व है. इस बार माघ पूर्णिमा 05 फरवरी 2023 (Magha Purnima 2023 Date) को है. धार्मिक मान्यता के अनुसार, इस दिन नदियों में स्नान और फिर उसके बाद दान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है. इसके साथ ही माघ पूर्णिमा के दिन हवन, व्रत जप और पूजा करने से इंसान को शुभ की प्राप्ति होती है. शास्त्रों के मुताबिक, अगर माघ पूर्णिमा के दिन पुष्य नक्षत्र हो तो इस तिथि का महत्व और भी बढ़ जाता है. आइए जानते हैं माह पूर्णिमा का शुभ मुहूर्त, और व्रत का महत्व के बारे में.

यह भी पढ़ें: Jaya Ekadashi 2023 Puja Samagri List in Hindi: जया एकादशी पूजा में शामिल करें ये चीजें, व्रत होगा सफल

माघ पूर्णिमा 2023 तिथि (Magh Purnima 2023 Tithi)

माघ पूर्णिमा- रविवार, 5 फरवरी 2023
माघ पूर्णिमा तिथि आरंभ- 4 फरवरी 2023, को रात 9 बजकर 29 मिनट पर.
माघ पूर्णिमा तिथि समाप्त – 5 फरवरी 2023, को रात 11 बजकर 58 मिनट तक.
माघ पूर्णिमा 2023 सूर्योदय – सुबह 7 बजकर 7 मिनट पर.
माघ पूर्णिमा 2023 सूर्यास्त : 6 बजकर 3 मिनट पर.

माघ पूर्णिमा 2023 शुभ मुहूर्त (Magh Purnima 2023 Shubh Muhurat)

ब्रह्म मुहूर्त – 5 फरवरी को 5 बजकर 23 मिनट से 6 बजकर 15 मिनट सुबह.
अभिजित मुहूर्त – 5 फरवरी को 12 बजकर 13 मिनट से 12 बजकर 57 मिनट दोपहर.
विजय मुहूर्त – 5 फरवरी को 2 बजकर 25 मिनट से 3 बजकर 8 मिनट दोपहर.
गोधूलि मुहूर्त – 5 फरवरी को 6 बजकर 1 मिनट से 6 बजकर 27 मिनट शाम.

यह भी पढ़ें: Jaya Ekadashi 2023: कब है जया एकादशी? जानें शुभ मुहूर्त और महत्व

माघ पूर्णिमा का महत्व (Magh Purnima 2023 Ka Mahatva)

माघ पूर्णिमा का दिन धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है. ऐसा कहा जाता है कि इस दिन लोग यदि गंगा नदी या फिर प्रयाग में स्नान करते हैं तो उनको शुभ फल की प्राप्ति होती है और सभी मनोकामनाएं पूरी होती है। साथ ही मोक्ष की भी प्राप्ति होती है.

माघ पूर्णिमा व्रत और पूजा विधि (Magh Purnima 2023 Pujan Vidhi)

-माघ पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान, हवन, दान और जप का अधिक महत्व बताया गया है.
-इस दिन प्रातः काल सुबह उठ कर गंगा नदी या फिर किसी पवित्र नदी में स्नान करना चाहिए.
-स्नान के दौरान सूर्य देव के मंत्र का जाप करें और सूर्य को अर्घ्य दें.

यह भी पढ़ें: Magh Purnima 2023 Date and Time: कब है माघ पूर्णिमा? जानें शुभ मुहूर्त और पूजा विधि

-स्नान के बाद पूरे दिन व्रत रखें.
-माघ पूर्णिमा के दिन भगवान मधुसूदन की पूजा-अर्चना करें.
-इस दिन गरीब लोगों या ब्राह्मणों को भोज कराकर दान दें.
-इसके साथ ही दान में तिल और काले तिल का दान करें.

Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ओपोई इसकी पुष्टि नहीं करता है.